Happy New Year Poem in Hindi 

नए साल पर कविता Kavita 2025 हैप्पी न्यू ईयर कविता हिंदी में

नव वर्ष के आगमन पर
प्रेम गीत गाएं

सहज सरल मन से
सब को गले लगाए

उंच नीच भेद भाव के
अंतर को मिटाएं

नव वर्ष के आगमन पर
प्रेम गीत गाएं

शिक्षा का उजियारा हम
घर घर पहुंचाएं

पर्यावरण की चिंता करे
पेड़ फिर लगाए

नव वर्ष के आगमन पर
प्रेम गीत गाएं

स्वच्छता अभियान को
समझें समझाएं

योग प्राणायाम कर स्वस्थ
हम हो जाएं

नव वर्ष के आगमन पर
प्रेम गीत गाएं

देश प्रेम का जज्बा सभी
जन मन में लाएं

माँ भारती के चरणों में
शीश सब झुकाएं

नव वर्ष के आगमन पर
प्रेम गीत गाएं..

Happy New Year Poem in Hindi


नव वर्ष तुम्हारा स्वागत है,
खुशियों की बस इक चाहत है।
 
नया जोश, नया उल्लास,
खुशियाँ फैले, करे उजास।
 
नैतिकता के मूल्य गढ़ें,
अच्छी-अच्छी बातें पढें।

कोई भूखा पेट न सोए,
संपन्नता के बीज बोए।

ऐ नव वर्ष के प्रथम प्रभात,
दो सबको अच्छी सौगात।

नए साल की कविता

सुनहरे पलों की झंकार,
ले कर आया नया साल।
रंग बिरंगे फूलों की खुशबू,
ले कर आया नया साल।
उमंगों का अनमोल उपहार,
ले कर आया नया साल।
उम्मीदों का नया सवेरा,
ले कर आया नया साल।

नव वर्ष 2025 पर कविता

ये नव वर्ष हमें स्वीकार नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं
है अपनी ये तो रीत नहीं
है अपना ये व्यवहार नहीं
धरा ठिठुरती है सर्दी से
आकाश में कोहरा गहरा है
बाग़ बाज़ारों की सरहद पर
सर्द हवा का पहरा है
सूना है प्रकृति का आँगन
कुछ रंग नहीं , उमंग नहीं
हर कोई है घर में दुबका हुआ
नव वर्ष का ये कोई ढंग नहीं
चंद मास अभी इंतज़ार करो
निज मन में तनिक विचार करो
नये साल नया कुछ हो तो सही
क्यों नक़ल में सारी अक्ल बही
उल्लास मंद है जन -मन का
आयी है अभी बहार नहीं
ये नव वर्ष हमे स्वीकार नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं
ये धुंध कुहासा छंटने दो
रातों का राज्य सिमटने दो
प्रकृति का रूप निखरने दो
फागुन का रंग बिखरने दो
प्रकृति दुल्हन का रूप धार
जब स्नेह – सुधा बरसायेगी
शस्य – श्यामला धरती माता
घर -घर खुशहाली लायेगी
तब चैत्र शुक्ल की प्रथम तिथि
नव वर्ष मनाया जायेगा
आर्यावर्त की पुण्य भूमि पर
जय गान सुनाया जायेगा
युक्ति – प्रमाण से स्वयंसिद्ध
नव वर्ष हमारा हो प्रसिद्ध
आर्यों की कीर्ति सदा -सदा
नव वर्ष चैत्र शुक्ल प्रतिपदा
अनमोल विरासत के धनिकों को
चाहिये कोई उधार नहीं
ये नव वर्ष हमे स्वीकार नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं
है अपनी ये तो रीत नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं.....

नव वर्ष 2025 पर कविता

नव वर्ष की शुभकामनाएं
हैपी न्यू इयर, हैपी न्यू इयर।

दिलों में हो फागुन, दिशाओं में रुनझुन
हवाओं में मेहनत की गूंजे नई धुन
गगन जिसको गाए हवाओं से सुन-सुन
वही धुन मगन मन, सभी गुनगुनाएं।

नव वर्ष की शुभकामनाएं
हैपी न्यू इयर, हैपी न्यू इयर।
नया साल हो आप सबको मुबारक।

ये धरती हरी हो, उमंगों भरी हो
हरिक रुत में आशा की आसावरी हो
मिलन के सुरों से सजी बांसुरी हो
अमन हो चमन में, सुमन मुस्कुराएं।

नव वर्ष की शुभकामनाएं
हैपी न्यू इयर, हैपी न्यू इयर।
नया साल हो आप सबको मुबारक।

न धुन मातमी हो न कोई ग़मी हो
न मन में उदासी, न धन में कमी हो
न इच्छा मरे जो कि मन में रमी हो
साकार हों सब मधुर कल्पनाएं।
नव वर्ष की शुभकामनाएं
हैपी न्यू इयर, हैपी न्यू इयर।
नया साल हो आप सबको मुबारक।

New Year Poem in Hindi 2025

अभिनंदन नववर्ष तुम्हारा
है उल्लासित फिर जग सारा
नई डगर है नया सवेरा, खुशियों से भरा नज़ारा
अभिनंदन नववर्ष तुम्हारा ….

ओस सुबह की है फिर चमकी, बिखरा करके छ्टा निराली
चेहरे दमके बगियाँ महकी, घर घर होली और दीवाली
फिर खिलकर फूल सतरंगे, हो प्रतिबिंबित तब सरिता में
प्रकृति को क्या खूब सँवारा…..
अभिनंदन नववर्ष तुम्हारा ….

हो उत्साहित गोरन्वित हम, लिए सोच में वही नयापन
निकल पड़े कुछ कर पाने को, नई दिशाएँ दर्शाने को
कर पाऊँ हर सपने को सच, जो तुम थामो हाथ हमारा ….
अभिनंदन नववर्ष तुम्हारा ….

Happy New Year Short Poem in Hindi

आरंभ का अंत हो जाना नया साल है!
गिनती का नंबर बदल जाना नया साल है !
वर्तमान का इतिहास बन जाना नया साल है !
उदये होते हुये सूरज का ढल जाना नया साल है !
खिल के फूल का डाल से उतर जाना नया साल है !
दे के जनम मां का आंचल ममता से भर जाना नया साल है !
एक दर्द भूल कर सुख को पेहचान जाना नया साल है !

नव वर्ष पर कविता

हे नव वर्ष !
तुम्हारा स्वागत-सत्कार
चाहते हुए भी
न कर सका !

तुम्हारे शुभागमन के पूर्व
कई दिनों से
विविध आयोजनों की
रूपरेखा बनाने का विचार
मन में आता रहा,
न जाने
क्या-क्या अभिनव-अनूठा समाता रहा ;
पर, कार्यरूप में
तनिक भी
परिणत न कर सका उसे !

हे नव वर्ष !
तुम आ गये बिना किसी धूमधाम के ?

तुम्हें प्यार भरी भुजाओं में
चाहते हुए भी
न भर सका !

हे नव वर्ष !
तुम सचमुच
कितने उदास हो रहे होगे !
तुम्हारे अभिनन्दन में
इस बार
एक क्या अनेक कविताएँ
लिखना चाहते हुए भी
एक पंक्ति भी तुम्हें
समर्पित न कर सका !

अरे, यह क्या हुआ ?
कुछ भी तो स्मरणीय विशिष्ट
घटित हो जाता —
जीवन-नाटक का
मंगलाचरण
या
पटाक्षेप !
पर, कुछ भी तो नहीं हुआ ;
मात्र पूर्वाभ्यास का बोध होता रहा !

हे नव वर्ष !
तुम्हें जीवन-क्रमणिका में
महत्त्वपूर्ण स्थान दिलाने की साध लिए
जागता… सोता रहा !
चाहते हुए भी
न जी सका,
न मर सका !

हैप्पी न्यू ईयर कविता 2025

भूल के बीती बातों को,
एक नए मुकाम को पाना है,
नए साल में हमको एक,
नया इतिहास रचाना है।
ऊपर हमको उठना है अब,
उत्साह न ये गिर ने पाए,
छेड़ें ऐसा संगीत नया,
पूरी दुनिया ही जो गाये,
रुकना नहीं है अब हमको,
आगे कदम बढ़ाना है,
नए साल में हमको एक,
नया इतिहास रचाना हैं।

हैप्पी न्यू ईयर कविता

नए साल में नई पहल हो,
कठिन जिंदगी और सरल हो,
जो चलता है वक्त देख कर,
आगे जा कर वही सफल ही,
नए वर्ष का उगता सूरज,
सबके लिए सुनहरा पल हो,
समय हमारा सदा साथ दे,
आगे कुछ ऐसी हलचल हो,
अनसुलझी रह गई जो पहेली,
उसका भी अब हल हो,
नए साल में नई पहल हो,
कठिन जिंदगी और सरल हो।

Happy New Year Poem In Hindi

नव वर्ष
हर्ष नव
जीवन उत्कर्ष नव

नव उमंग
नव तरंग
जीवन का नव प्रसंग

नवल चाह
नवल राह
जीवन का नव प्रवाह

गीत नवल
प्रीति नवल
जीवन की रीति नवल
जीवन की नीति नवल
जीवन की जीत नवल

– हरिवंश राय बच्चन

Naye Saal Ki Kavita

हंसे और मुस्कुराएं, नए साल में।
खुशियां मनाएं, नए साल में।
गीत गुनगुनाएं, नए साल में।
सबके दिलों में घर बनाएं, नए साल में।
भूल गए हैं हम जो हमें,
याद आएं हम नए साल में।
मिटे नहीं फासले हमारे, नए साल में।

New Year Poems in Hindi

नया साल, नया दिन, नयी तमन्ना जीवन की,
चलो मिल बैठ तय करे खुशियाँ अपने आगन की,
सबको मुबारक हो नया साल नयी किरण जीवन की,
चलो बनाए ज़िंदगी को जोश उमंग से भरे पलो की,
सबके पूरे हो सपने, उचाइयाँ मिले जीवन की,
चलो मिल बैठे बाँट ले सुख-दुख अपने किस्मत की।

Happy New Year Kavita in Hindi

जिन्दगी का एक ओर वर्ष कम हो चला,
कुछ पुरानी यादें पीछे छोड़ चला..
कुछ ख्वाईशैं दिल मे रह जाती हैं..
कुछ बिन मांगे मिल जाती हैं ..
कुछ छोड़ कर चले गये..
कुछ नये जुड़ेंगे इस सफर मे ..
कुछ मुझसे बहुत खफा हैं..
कुछ मुझसे बहुत खुश हैं..
कुछ मुझे मिल के भूल गये..
कुछ मुझे आज भी याद करते हैं..
कुछ शायद अनजान हैं..
कुछ बहुत परेशान हैं..
कुछ को मेरा इंतजार हैं ..
कुछ का मुझे इंतजार है..
कुछ सही है
कुछ गलत भी है.
कोई गलती तो माफ कीजिये और
कुछ अच्छा लगे तो याद कीजिये।

Happy New Year Poem In Hindi

चलो,
पूरी रात प्रतीक्षा के बाद
फिर एक नई सुबह होगी
होगी न,
नई सुबह?
जब आदमियत नंगी नहीं होगी
नहीं सजेंगीं हथियारों की मंडिया
नहीं खोदी जायेगीं नई कब्रें
नहीं जलेंगीं नई चिताएँ
आदिम सोच, आदिम विचारों से
मिलेगी निजात
होगी न,
नई सुबह?
सब कुछ भूल कर
हम खड़े हैं
हथेलियों में सजाये
फूलों का बगीचा,
पूरी रात जाग कर
फिर एक नई सुबह के लिए
होगी न
नई सुबह?

Happy New Year 2025 Poem In Hindi

नया साल ख़ुशियोँ का पैग़ाम लाए,
ख़ुशी वह जो आए तो आकर न जाए,
ख़ुशी यह हर एक व्यक्ति को रास आए,
मोहब्बत के नग़मे सभी को सुनाए,
रहें जज़्ब ए ख़ैर ख़्वाह सलामत,
रहें साथ मिलजुल के अपने पराए,
जो है इन दिनों दूर अपने वतन से,
न उनको कभी यादें ग़ुर्बत सताए,
नहीं खिदमते खल्क से कुछ भी बेहतर,
जहाँ जो भी है फ़र्ज़ अपना निभाए,
मोहब्बत की शमएँ फ़रोज़ाँ हो हर सू,
दिया अमन और सुलह का जगमगाए,
रहे लोग मिलजुल के आपस में,
सभी के दिलों से कुदूरत मिटाए।

Happy New Year Poem In Hindi

नव वर्ष
हर्ष नव
जीवन उत्कर्ष नव ।

नव उमंग,
नव तरंग,
जीवन का नव प्रसंग ।

नवल चाह,
नवल राह,
जीवन का नव प्रवाह ।

गीत नवल,
प्रीति नवल,
जीवन की रीति नवल,
जीवन की नीति नवल,
जीवन की जीत नवल !

Happy New Year Poem In Hindi

आप खुशियाँ मनाएँ नए साल में
बस हँसे, मुस्कुराएँ नए साल में

गीत गाते रहें, गुनगुनाते रहें
हैं ये शुभ-कामनाएं नए साल में

रेत, मिटटी के घर में बहुत रह लिए
घर दिलों में बनायें नए साल में

अब न बातें दिलों की दिलों में रहें
कुछ सुने, कुछ सुनाएँ नए साल में

जान देते हैं जो देश के वास्ते
गीत उनके ही गायें नए साल में

भूल हमको गए हैं जो पिछले बरस
हम उन्हें याद आयें नए साल में

Happy New Year Poem In Hindi

जेठ की धूप में तपी हुई
आषाढ़ की फुहारों में भीगकर
कार्तिक और अगहन के फूलों को पार करती हुई
यह घूमती हुई पृथ्‍वी
आज सामने आ गयी है
नये साल की देहरी के

तीन सौ पैंसठ जंगलों
तीन सौ पैंसठ नदियों
तीन सौ पैंसठ दुर्गम घाटियों को पार करने के बाद
आज यह घूमती हुई पृथ्‍वी

यह पृथ्‍वी
टहनी से टपका एक ताजा पका फल
लुढ़ककर आ गया है साबुत
अभी-अभी लिपे हुए आंगन में
प्रथम दिवस की चौखट के सामने
तीन सौ पैंसठ पत्‍थरों से बचकर

न जाने कितने लोगों का भय रेंग रहा है इस पर
न जाने कितने नगरों-गावों का रक्‍त
बह रहा है अभी भी
न जाने कितनी चीखों से
दहल गयी है यह पृथ्‍वी

ऐसे मे कितना सुखद है यह देखना
कि तीन सौ पैंसठ घावों से भरी यह पृथ्‍वी
आज जब सामने आयी है
नये साल के प्रथम दिवस की चौखट के
इसके माथे पर चमक रहा है नया सूर्य

इसकी नदियों का जल
हमारे जनों के हाथों में
अर्ध्‍य के लिए उठा है सूर्य की ओर

और ठीक वहीं
जहां पिछले अंधेरों को पार करने के बाद
ठिठकी खड़ी है यह पृथ्‍वी
दिन की टहनियों पर
फूले हैं गुड़हल के फूल.

Happy New Year Poem In Hindi

नए वर्ष में नई पहल हो।
कठिन ज़िंदगी और सरल हो।।
अनसुलझी जो रही पहेली।
अब शायद उसका भी हल हो।।
जो चलता है वक्त देखकर।
आगे जाकर वही सफल हो।।
नए वर्ष का उगता सूरज।
सबके लिए सुनहरा पल हो।।
समय हमारा साथ सदा दे।
कुछ ऐसी आगे हलचल हो।।
सुख के चौक पुरें हर द्वारे।
सुखमय आँगन का हर पल हो।।

नयें साल की कविता

नया साल है नयी उमंग,
नयी आस है जीवन में,
नयी सोच है नयी तरंगे,
नयी प्यास है जीवन में,
करना है कुछ नया नया अब,
नयी बहार है जीवन में,
सपने को सच करना है अब,
नयी चाह है जीवन में,
करना है कुछ खुदा से वादा,
प्रगति करनी है जीवन में,
बीते पल में जो मिली निराशा,
भुलाना है उसे जीवन में,
भले जीवन हो काँटों जैसा,
फूल बिछाना है जीवन में,
दिल में संकल्प तू लेके देख,
सफलता मिलेगी जिंदगी में,
कठिन परिश्रम करके देख,
मुकाम मिलेगा जीवन में,
नव वर्ष की नयी प्रभा में,
सपने सजाओ जीवन में,
सपनों को पूरा करके दिखाओ,
हर दिन को जियो जीवन में।

Happy New Year Poem In Hindi

नए साल की शुभकामनाएँ!
खेतों की मेड़ों पर धूल भरे पाँव को
कुहरे में लिपटे उस छोटे से गाँव को
नए साल की शुभकामनाएं!

जाँते के गीतों को बैलों की चाल को
करघे को कोल्हू को मछुओं के जाल को
नए साल की शुभकामनाएँ!

इस पकती रोटी को बच्चों के शोर को
चौंके की गुनगुन को चूल्हे की भोर को
नए साल की शुभकामनाएँ!

वीराने जंगल को तारों को रात को
ठंडी दो बंदूकों में घर की बात को
नए साल की शुभकामनाएँ!

इस चलती आँधी में हर बिखरे बाल को
सिगरेट की लाशों पर फूलों से ख़याल को
नए साल की शुभकामनाएँ!

कोट के गुलाब और जूड़े के फूल को
हर नन्ही याद को हर छोटी भूल को
नए साल की शुभकामनाएँ!

उनको जिनने चुन-चुनकर ग्रीटिंग कार्ड लिखे
उनको जो अपने गमले में चुपचाप दिखे
नए साल की शुभकामनाएँ!

हैप्पी न्यू ईयर कविता हिंदी में

नये वर्ष का करें सभी हम,
मिलकर सारे ऐसा स्वागत,
भूल सारे वैर भाव हम,
मन में हो प्रीती की चाहत।
नहीं किसी का बुरा करें हम,
सीखें मानवता से रहना,
सच्ची -मीठी वाणी बोलें,
कटुवचन न कभी कहना!
नये -नए संकल्प करें हम
अब है आगे हमको बढ़ना,
भूखे -प्यासे दीन -दुखी की ,
आगे बढ़ कर सेवा करना।
सबके लिए हो मंगलमय इस,
नए वर्ष का इक -इक पल,
भविष्य स्वर्णिम और सुखद हो,
सबके लिए हो उज्जवल कल।

Happy New Year Poem in Hindi

हंसे और मुस्कुराएं, नए साल में।
खुशियां मनाएं, नए साल में।
गीत गुनगुनाएं, नए साल में।
सबके दिलों में घर बनाएं, नए साल में।
भूल गए हैं हम जो हमें,
याद आएं हम नए साल में।
मिटे नहीं फासले हमारे, नए साल में।

Happy New Year Poetry In Hindi

नया साल…..
उन बच्चो के नाम
जिनके पास
न ही है रोटी
न ही है ,
कोई खेल खिलोने
न ही कोई बुलाए
उन्हें प्यार से
न कोई सुनाये कहानी
पर बसे हैं ,
उनकी आंखों में कई सपने
माना कि अभी है
अभावों का बिछोना
और सिर्फ़ बातो का ओढ़ना
आसमन की छ्त है
और घर है धरती का एक कोना
पर ….
उनके नाम से बनेगी
अभी कागज पर
कुछ योजनायें
और साल के अंत में
वही कहेंगी
जल्द ही पूरी होंगी यह आशाएं …
इसलिए ,उम्मीद की एक किरण पर .
नया साल उन बच्चो के नाम ………..

Happy New Year Kavita in Hindi

नए वर्ष में नई पहल हो
कठिन ज़िंदगी और सरल हो

अनसुलझी जो रही पहेली
अब शायद उसका भी हल हो

जो चलता है वक्त देखकर
आगे जाकर वही सफल हो

नए वर्ष का उगता सूरज
सबके लिए सुनहरा पल हो

समय हमारा साथ सदा दे
कुछ ऐसी आगे हलचल हो

सुख के चौक पुरें हर द्वारे
सुखमय आँगन का हर पल हो
सभी के लिए ये नया साल मंगलमय हो..

Happy New Year Poetry In Hindi

नया साल ख़ुशियोँ का पैग़ाम लाए
ख़ुशी वह जो आए तो आकर न जाए

ख़ुशी यह हर एक व्यक्ति को रास आए
मोहब्बत के नग़मे सभी को सुनाए

रहे जज़ब ए ख़ैर ख़्वाही सलामत
रहें साथ मिल जुल के अपने पराए

जो हैँ इन दिनोँ दूर अपने वतन से
न उनको कभी यादें ग़ुर्बत सताए

नहीँ खिदमते ख़ल्क़ से कुछ भी बेहतर
जहाँ जो भी है फ़र्ज़ अपना निभाए

मुहबबत की शमएँ फ़रोज़ाँ होँ हर सू
दिया अमन और सुलह का जगमगाए

रहेँ लोग मिल जुल के आपस में बर्क़ी
सभी के दिलोँ से कुदूरत मिटाए

Happy New Year Poem in Hindi

सुनहरे सपनों की झंकार, लाया है नववर्ष,
खुशियों के अनमोल उपहार लाया है नववर्ष,
आपकी राहों में फूलों को बिखराकर लाया है नववर्ष,
महकी हुई बहारों की ख़ुशबू लाया है नववर्ष,
अपने साथ नयेपन का तूफान लाया है नववर्ष,
स्नेह और आत्मीयता से आया है नववर्ष,
सबके दिलों पर छाया है नववर्ष,
आपको मुबारक हो दिल की गराईयों से नववर्ष।

Happy New Year Poem In Hindi

बस आखिरी ही रात है
दीवार पर इस कैलेंडर की
पर आखिरी बार नहीं
रोया है कोई बेरोजगार
साल बदलने के साथ उम्र
बोझ बन जाने की संभावना पर
आखिरी बार नहीं कोई कमसिन
मुफलिसी में लगा रही है हिसाब
बेहतर होगा अकेले छीजते रहना
या किसी मालदार बूढ़े की लार
हाार हाार बार सहते चलना
और भी बहुत अप्रिय बातों का
सिलसिला टूटने की उम्मीद के
साल भर बाद टूटने के साथ
फिर वही मांर है सामने
नाच रहे हैं इन्सानी मुखौटों में
तमाम तरह के स्खलनकामी कीड़े
इन्सानियत की ढहती दीवारों में
नये साल में नये तरीके से
सेंध लगाने की उम्मीद में
पर टेरने में लगा है कवि
उगते हुए सूर्य के साथ सुबह
उगायेंगे हम उम्मीदों का नया साल

Happy New Year Long Poem in Hindi**

नये वर्ष की नयी सुबह
नयी कलम और नयी डायरी
काश ! लिखूँ कुछ ऐसा कि
मुग्ध हो जाएँ दुनिया सारी
खामोश जुबां के शब्द बनूं
टूटे सपनो के टुकड़े चुनूं
काश ! लिखूँ कुछ ऐसा कि
भटके अपनो की राह बुनूं
दीन-दुखी जन की पीड़ा
हर दिल तक पहुँचा पाऊँ
काश ! लिखूँ कुछ ऐसा कि
सबके दिल को छू जाऊँ
निर्बल का मान बचा पाऊँ
निर्धन की जान बचा पाऊँ
काश ! लिखूँ कुछ ऐसा कि
हर दिल को रोशन कर जाऊँ
जंग लगे दिल के दरवाजों
के तालों को तोड़ सकूँ
काश ! लिखूँ कुछ ऐसा कि
सबके दिलों को जोड़ सकूँ
झूठ का पर्दाफाश करूँ
और सच का मैं आगाज़ करूँ
काश ! लिखूँ कुछ ऐसा कि
सबके दिलों में राज करूँ
प्रकाश की सविता बन जाऊँ
आस की सरिता बन आऊँ
काश ! लिखूँ कुछ ऐसा कि
खुद ही कविता बन जाऊँ........

2025 Happy New Year Kavita In Hindi

मैने नए नए साल से कहा
भूल जाओ
यात्राओं की यातना
फिलहाल जूते उतारो
गर्म पानी लो
धो लो पाँव

यह रहा तौलिया
पोंछ डालो
सूर्य से यहाँ तक
पहुँचने की थकान
वह मुस्कुराया
खिड़की तक आया
और पहली किरन के साथ
स्नानगृह में चला गया

जब हम
साथ- साथ, पास-पास बैठे
मैने उसे गिलास थमाया

और कहा—
हर्ज क्या है
गर कुछ पल
बहक भी जाएं हम?

‘मैं तो यात्री हूँ…
कहा उसने… और….. देखा मैने
कहीं नही था वह

मेज से द्वार
द्वार से आँगन
आँगन से सड़क तक
फैली थी
नये साल की
नयी धूप ।

Happy New Year Poem in Hindi for Kids Children

नव वर्ष तुम्हारा स्वागत है,
खुशियों की बस इक चाहत है।
नया जोश, नया उल्लास,
खुशियां फैले, करे उजास।
नैतिकता के मूल गढ़ें,
अच्छी – अच्छी बातें पढ़ें।
कोई भूखा पेट न सोए,
सम्पन्नता के बीज बोएं।
नए वर्ष की पहली सुबह,
दे सबको अच्छी सौगात।

Happy New Year Poem In Hindi

नया साल है और नई यह ग़ज़ल
सभी का हो उज्जवल यह आज और कल

ग़ज़ल का है इस दौर मेँ यह मेज़ाज
है हालात पर तबसेरा बर महल

बहुत तल्ख़ है गर्दिशे रोज़गार
न फिर जाए उम्मीद पर मेरी जल

मेरी दोस्ती का जो भरते हैँ दम
छुपाए हैँ ख़ंजर वह ज़ेरे बग़ल

न हो ग़म तो क्या फिर ख़ुशी का मज़ा
मुसीबत से इंसाँ को मिलता है बल

यह मंदी जो है सारे संसार में
घड़ी यह मुसीबत की जाएगी टल

वह आएगा उसका हूँ मैं मुंतज़िर
न जाए खुशी से मेरा दम निकल

है बेकैफ़ हर चीज़ उसके बग़ैर
नहीं चैन मिलता मुझे एक पल

अगर आ गया मुझसे मिलने को वह
तो हो जाएगा मेरा जीवन सफल

न समझें अगर ग़म को ग़म हम सभी
तो हो जाएँगी मुशकिलें सारी हल

सभी को है मेरी यह शुभकामना
नया साल सबके लिए हो सफल

ख़ुदा से है बर्की मेरी यह दुआ
ज़माने से हो दूर जंगो जदल.....

2025 New Year Poem In Hindi

नया वर्ष कुछ ऐसा हो पिछले बरस न जैसा हो
घी में उँगली मुँह में शक्कर पास पर्स में पैसा हो ।

भूल जाएँ सब कड़वी बातें पाएँ नई नई सौगातें
नहीं काटना पड़ें वर्ष में बिन बिजली गर्मी की रातें ।
कोई घपला और घुटाला काण्ड न ऐसा-वैसा हो ।।
नया वर्ष कुछ ऐसा हो…

बच्चे खुश हों खेलें खायें रोज सभी विद्यालय जायें
पढ़ें लिखें शुभ आदत सीखें करें शरारत मौज मनायें
नहीं किसी के भी गड्ढ़े में गिरने का अंदेशा हो ।।
नया वर्ष कुछ ऐसा हो…

युवा न भटकें गलियाँ-गलियाँ मिल जाएँ सबको नौकरियाँ
राहू केतु शुभ हो जाएँ मिल जाएँ सबकी कुण्डलियाँ
लड़की ऐश्वर्या-सी लड़का अभिषेक बच्चन जैसा हो ।।
नया वर्ष कुछ ऐसा हो…

स्वस्थ रहें सब वृद्ध सयाने बच्चे उनका कहना मानें
सेवा में तत्पर हो जाएँ आफिस कोर्ट कचहरी थाने
डेंगू और चिकनगुनियाँ का अब प्रतिबन्ध हमेशा हो
नया वर्ष कुछ ऐसा हो…

नए वर्ष में नूतन नारे बना सकें नेता बेचारे
गाली बकलें कोई किसी को पर जूते चप्पल न मारे
नहीं विश्व में अन्त किसी का बेनजीर के जैसा हो ।
नया वर्ष कुछ ऐसा हो…

Happy New Year Poem in Hindi

भूल कर बीती बातों को,
एक नए मुकाम को पाना है,
नए साल में हमको,
एक नया इतिहास बनाना है,
ऊपर उठना है अब हमको,
हौसला ये बनाना है,
रुकना नहीं है अब हमको,
आगे कदम बढ़ाना है,
नए साल में हमको,
एक नया इतिहास बनाना है।

Happy New Year 2025 Poem in Hindi

आप खुशियाँ मनाएँ नए साल में
बस हँसे, मुस्कुराएँ नए साल में
गीत गाते रहें, गुनगुनाते रहें
हैं ये शुभ-कामनाएं नए साल में
रेत, मिटटी के घर में बहुत रह लिए
घर दिलों में बनायें नए साल में
अब न बातें दिलों की दिलों में रहें
कुछ सुने, कुछ सुनाएँ नए साल में
जान देते हैं जो देश के वास्ते
गीत उनके ही गायें नए साल में
भूल हमको गए हैं जो पिछले बरस
हम उन्हें याद आयें नए साल में......

नये साल पर कविता

नया वर्ष
संगीत की बहती नदी हो
गेहूँ की बाली दूध से भरी हो
अमरूद की टहनी फूलों से लदी हो
खेलते हुए बच्चों की किलकारी हो नया वर्ष

नया वर्ष
सुबह का उगता सूरज हो
हर्षोल्लास में चहकता पाखी
नन्हें बच्चों की पाठशाला हो
निराला-नागार्जुन की कविता

नया वर्ष
चकनाचूर होता हिमखण्ड हो
धरती पर जीवन अनन्त हो
रक्तस्नात भीषण दिनों के बाद
हर कोंपल, हर कली पर छाया वसन्त हो

Happy New Year Kavita in Hindi

नया साल है नई उमंग,
नई आस है जीवन में।
नई सोच है, नई तरंगे,
नई प्यास है जीवन में।
करना है कुछ नया नया अब,
नई बहार है जीवन में।
सपनों को सच करना है अब,
नई चाह है जीवन में।
करना है कुछ खुद से वादा,
आगे बढ़ना है जीवन में।
बीते पल में जो मिली निराशा,
भूलना है उसे जीवन में।
नया साल है नई उमंग,
नई आस है जीवन में।

Happy New Year 2025 Poem in Hindi

नये वर्ष का करें सभी हम,
मिलकर सारे ऐसा स्वागत,
भूल सारे वैर भाव हम,
मन में हो प्रीती की चाहत.
नहीं किसी का बुरा करें हम,
सीखें मानवता से रहना,
सच्ची -मीठी वाणी बोलें,
कटुवचन न कभी कहना!
नये -नए संकल्प करें हम
अब है आगे हमको बढ़ना,
भूखे -प्यासे दीन -दुखी की ,
आगे बढ़ कर सेवा करना.
सबके लिए हो मंगलमय इस,
नए वर्ष का इक -इक पल,
भविष्य स्वर्णिम और सुखद हो,
सबके लिए हो उज्जवल कल.

नव वर्ष पर कविता 2025

इकतीस दिसम्बर की रात
की जमी हुई झील को पार कर
पूर्व की देहरी
की ओर जा रहे सूरज संग चली
नव वर्ष की भोर-दुल्हन
देहरी तक पहुंचते-पहुंचते
ठर कर अचेत हो गई

लगा है सूरज
अपनी देह से उसकी देह गरमाने

लो,
धीरे-धीरे छंटने लगा कोहरा
फूटने लगा हल्का-हल्का उजास
सुगबुगाहट-सी हुई देख देह में

संतोष की सांस ली सूरज ने
खिल-खिल उठे लोग
भोर-दुल्हन के दर्शन कर

छ्त-आंगन और चौक में
खेलने लगे बच्चे
खिलखिलाती धूप में
खिलखिलाने लगे बच्चे !

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